रेलवे निजीकरण के विरोध में रेलकर्मियों ने किया प्रदर्शन

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19 सूत्रीय मांग पत्र के साथ मांगें की बुलंद

रेलवे के निजीकरण की हो रही कोशिश के विरोध में ईस्ट सेंट्रल रेलवे इंप्लाइज यूनियन ने बृहस्पतिवार को पं. दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन के प्लेटफार्म संख्या दो पर धरना प्रदर्शन किया। बाद में 19 सूत्री मांग पत्र डीआरएम, सीनियर डीपीओ और स्टेशन अधीक्षक को सौंपा। इसके पूर्व केंद्रीय कर्मियों को डीए बहाली को रेलकर्मियों के संघर्षों की जीत बताया।

ईसीआरईयू के जोनल उपाध्यक्ष त्रिभुवन सिंह ने कहा कि ईसीआरईयू रेलकर्मियों के फ्रीज किए गए डीए को बहाल करने के लिए लगातार संघर्ष कर रहा था। संघर्षों का नतीजा है कि केंद्र सरकार ने महंगाई भत्ता बहाल किया है।

अन्य वक्ताओं ने रेलवे के निजीकरण की कोशिशों का विरोध किया। धरना के माध्यम से महंगाई भत्ता सहित अन्य भत्तों का एरियर किश्त के रूप में जल्दी भुगतान करने, यात्रा भत्ता और रात्रि भत्ता के लिए 43,600 रुपये की सीमा समाप्त करने, रेलवे सहित देश की अन्य संपत्तियों के निजीकरण और निगमीकरण करने पर रोक लगाने, पुरानी पेंशन लागू करने, खाली पड़े पदों पर नई भर्ती करने, इंजीनियरिंग विभाग के प्वाइंट मैन को 42 सौ पे ग्रेड पर अपग्रेड करने, ट्रैक मैन, की मैन और मेठ को जीवन रक्षक उपकरण देने की मांग की गई।

इसी तरह इंजीनियरिंग विभाग के कर्मियों को इंडक्शन कोटे के तहत स्थानांतरित करने, ओवर टाइम व यात्रा भत्ता की कटौती बंद करने, सभी क्रासिंग पर कर्मियों के सुरक्षा के इंतजाम करने, सभी स्टेशनों पर जर्जर रेलवे क्वार्टरों की मरम्मत करने की मांग की गई।

अमर उजाला से साभार