इस सप्ताह आदित्य कमल की तीन कविताएं !
हमें सीखना चाहिए / आदित्य कमल हमें नफ़रत करनी चाहिए इस घुटन भरी जिंदगी से मोटी हो रही चमड़ी से...
हमें सीखना चाहिए / आदित्य कमल हमें नफ़रत करनी चाहिए इस घुटन भरी जिंदगी से मोटी हो रही चमड़ी से...
मारना / उदय प्रकाश आदमी मरने के बाद कुछ नहीं सोचता. आदमी मरने के बाद कुछ नहीं बोलता. कुछ नहीं...
"क्या आज़ादी सिर्फ़ तीन थके हुए रंगों का नाम है जिन्हें एक पहिया ढोता है या इसका कोई खास मतलब...
(आम जन की पीड़ा व संघर्ष की सच्ची तस्वीर दिखाने वाले साहित्यकार थे बाबा नागार्जुन) शासन की बंदूक/ नागार्जुन खड़ी...
उसकी मर्ज़ी से/हूबनाथ उसकी मर्ज़ी के बिना पत्ता भी नहीं हिलता क्योंकि उसकी हुक़ूमत पत्तों पर ही चलती है उसकी...
यह बच्चा कैसा बच्चा है / इब्ने इंशा यह बच्चा कैसा बच्चा है यह बच्चा काला-काला-सा यह काला-सा, मटियाला-सा यह...
दीप पर्व की शुभकामनाएं/नजीर अकबराबादी 'हमें अदाएँ दीवाली की ज़ोर भाती हैं । कि लाखों झमकें हर एक घर में...
अमीरों का कोरस/गोरख पाांडेय जो हैं गरीब उनकी जरूरतें कम हैं कम हैं जरूरतें तो मुसीबतें कम हैं हम मिल-जुल...
सूर्यकान्त त्रिपाठी 'निराला' जन्म: 21 फ़रवरी 1896, मेदिनीपुर मृत्यु: 15 अक्तूबर 1961, इलाहबाद छायावाद के प्रमुख स्तम्भ सूर्यकान्त त्रिपाठी ‘निराला’...
(आज से ठीक 91 बरस पहले 14 जून 1928 को चे ग्वेरा का जन्म अर्जेंटीना में हुआ था। बचपन में...