बिहार: राज दूध फैक्ट्री में अमोनियम गैस रिसाव; कम से कम एक मज़दूर की मौत, सौ से ज्यादा पीड़ित

गैस की गंध 4 किमी से भी ज्यादा दूरी तक फैली। पानी की बौछारों से गैस की तीव्रता कम करने का प्रयास जारी रहा। इलाके में दहशत का माहौल। मृतकों की संख्या बढ़ सकती है।
बिहार के हाजीपुर औद्योगिक क्षेत्र स्थित राज फ्रेश दूध फैक्ट्री में अमोनियम गैस के टैंक में रिसाव के कारण एक मजदूर की मृत्यु हो गई है, जबकि आसपास के 100 से अधिक लोगों की तबीयत खराब हो गई है, जिसके बाद आनन-फानन में सदर अस्पताल में 35 लोगों को भर्ती कराया गया है।
जिस मजदूर की दुखद मौत हुई है, उसकी पहचान मनेर निवासी दीनानाथ सिंह के रूप में की गई है। यह भी कहा जा रहा है मृतकों की संख्या में वृद्धि हो सकती है।
जिन लोगों की स्थिति गंभीर थी उन्हें पटना रेफर कर दिया गया है, साथ कुछ लोगो को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। घटना के बाद इलाके में भगदड़ मच गई।
कैसे हुई घटना
जानकारी के मुताबिक शनिवार रात करीब साढ़े दस बजे फैक्ट्री के कच्चे माल अमोनिया गैस का रिसाव शुरू हो गया, जिससे मजदूरों और कर्मचारियों में अफरा-तफरी मच गई। देखते ही देखते आसपास के 100 से ज्यादा लोगों पर इसका असर पड़ा। लगभग 40 लोगों को सदर अस्पताल ले जाया गया, जिनमें से कुछ को गंभीर स्थिति में पटना के अस्पतालों में स्थानांतरित कर दिया गया। कई लोग निजी क्लीनिकों में भी इलाज करा रहे हैं।
फैक्ट्री के मजदूरों और कर्मचारियों ने मीडिया से बातचीत में बताया है कि काम करने के दौरान फैक्ट्री में अमोनिया गैस रिसाव होने लगा, जिसके बाद 12 से अधिक मजदूर बेहोश हो गए, जिसके बाद फैक्ट्री में अफरा-तफरी का माहौल बन गया। फैक्ट्री में काम कर रहे है सभी मजदूर इधर-उधर भागने लगे।
चारों तरफ फैली गैस, इलाके में दहशत
घटना के बाद अमोनिया गैस की गंध राज मिल्क प्लांट और फ्रीडम पाइप फैक्ट्री के चार किलोमीटर से भी ज्यादा दूरी तक फैली। पानी की बौछारों से क्षेत्र में गैस की तीव्रता को कम करने के प्रयास देर रात तक जारी रहे और बचाव अभियान जारी रहा। इलाके में दहशत का माहौल बना रहा।
गैस की दुर्गंध के कारण लोगों को सांस लेने में परेशानी हुई। एक किलोमीटर दूर स्थित राजपूत कॉलोनी से लेकर पासवान चौक और नगर थाना तक गैस की दुर्गंध पहुंची, जिसके कारण बड़ी संख्या में लोग प्रभावित हुए। कई लोग भगदड़ में भी जख्मी हुए हैं।
वैशाली के सिविल सर्जन श्याम नंदन प्रसाद के अनुसार अमोनिया गैस रिसाव के कारण मजदूरों को सांस लेने में दिक्कत हो रही थी। करीब 40 लोगों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया।
अभी तक हादसे सही कारण पता नहीं चल पाया है। हालांकि प्रबंधन की लापरवाही का मामला सामने आ रहा है। जैसा कि हर हादसे के बाद होता है, इस घटना के बाद भी डीएम ने विस्तृत जांच के आदेश दिए हैं और सहायता के लिए पटना से एक तकनीकी टीम बुलाई है।