कोरोना कर्फ्यू के बहाने पुलिस व प्रशासन की गुंडई हुई बेलगाम, घटनाओं के अंबार

सोशल मीडिया पर वायरल दहशतगर्दी की कुछ बानगी
कोरोना-पाबंदियों के बीच पुलिस व प्रशासन की खुले आम गुंडई काफी बढ़ गई है। कहीं कलक्टर थप्पड़ मार रहा है, तो कहीं पुलिस उट्ठक-बैठक करा रही है, किसी महिला का झोंटा पकड़कर सड़क पर घसीट रही है, तो कहीं गरीब सब्जी वाले को पीटकर जान ले रही है। डॉक्टर तक नहीं बच रहे हैं।
कोरोना पाबंदियों से वैसे ही आम जनता बेहाल है। ऊपर से पुलिस-प्रशासन की रंगबाजी, उदंडता, दमन, जुर्माने के बहाने अंधाधुंध वसूली ने हर तरफ से उसे विवश बना दिया है।
केंद्र की मोदी सरकार हो या राज्य सरकारें, उनकी निरंकुशता चरम पर है। जनता को अधिकारविहीन बना चुकी इन सरकारों के पास लाठी-गोली अचूक हथियार बन चुका है। अंग्रेजों से विरासत में मिली उसकी पुलिस-फौज और अधिकारी निरंकुशता की भट्टी में और मजबूत लठैत बने हैं। तमाम दमनकारी क़ानूनों ने उन्हें और मानबढ़ बना दिया है।

जनता बेबस, सारे क़ानून अधिकारियों की जेब में
कोविड-पाबंदियों के बीच आए दिन हो रही बर्बर व निर्लज्ज घटनाओं के अंबार हैं। कुछ घटनाएं जो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं, वे तो महज हालात की बानगी हैं। आइए देखें-
उत्तर प्रदेश
-उन्नाव में बांगरमऊ कोतवाली अंतर्गत कस्बे में एक सब्जी विक्रेता 17 साल के फैसल पर पुलिस का कहर इस कदर बरपा कि उसकी मौत हो गयी। फैसल को पुलिस ने दौड़ाकर पकड़ा और पीटते हुए कोतवाली ले गयी। वहाँ भी उसे पीटा गया एर उस युवा ने दम तोड़ दिया।

-बलिया जिले में कोतवाली क्षेत्र के टीडी कॉलेज चौराहे पर 13 मई को कर्फ्यू के बहाने पुलिस ने कोविड-19 जांच में लगे स्वास्थ्यकर्मियों के साथ अभद्रता की, उनके वाहन चालक की पिटाई की। नाराज स्वास्थ्यकर्मियों ने दोषी पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की माँग के साथ कार्य बहिष्कार कर दिया।
-गोंडा जिले के उतरौला विकास मंच अध्यक्ष ने पुलिस अधीक्षक को भेजे ज्ञापन में आरोप लगाया है कि कस्बा चौकी की पुलिस सब्जी, फल, बैटरी रिक्शा चालक व व्यापारियों को प्रताड़ित कर रही है। 11 मई को मरीज को लेकर आ रहे रिक्शा चालक अन्ना की उसने पिटाई कर दी।
छत्तीसगढ़
-सूरजपुर का कलेक्टर रणवीर शर्मा एक वायरल वीडियो में 22 मई को एक युवक का मोबाइल सड़क पर पटककर तोड़ता है और फिर एक झापड़ उसके गाल पर जड़ता है। खुद पीटकर उनका मन नहीं भरा तो वो पुलिसकर्मियों को पीटने का आदेश देता है और लड़के पर लाठियां बरसने लगीं।

मध्य प्रदेश
-भिंड जिले में 20 मई को पुलिस ने विवाह स्थल पर छापा मारा। शादी में शामिल लोगों में भगदड़ मच गई, 17 लोग पुलिस की गिरफ्त में आ गए। पुलिस ने उनसे एक खेत के किनारे सड़क पर मेंढक कूद कराई और सही तरीके से नहीं कूदने पर लाठियाँ भी बरसाईं।

-सागर जिले में कोरोना कर्फ्यू के दौरान सब्जी खरीदने बाजार आयी एक महिला द्वारा मास्क नहीं पहनने पर पुलिस कर्मियों ने सड़क पर उसकी पिटाई कर दी और बाल पकड़कर घसीटा। घटना जिले के रहली कस्बे में सोमवार 20 मई को हुई।

-टीमकगढ़ के जतारा कस्बे से शुक्रवार की रात बल्देवगढ़ गई बारात की वापसी पर जतारा की पुलिस ने बरातियों को एक लाइन में खड़ाकर करीब आधे घंटे तक सभी से उठक बैठक लगवाई।

-रायसेन जिले के सिलवानी में कोरोना कर्फ्यू के दौरान नगर पालिका सीएमओ और उसकी टीम ने ठेले पर फल बेच रहे सलीम उद्दीन नामक युवक पर मास्क न लगाने का जुर्माना लगाने के साथ उसका हाथ ठेला भी पलट दिया।
-इंदौर के देपालपुर का तहसीलदार बजरंग बहादुर कोविड कर्फ्यू तोड़ने वालों का गाजे-बाजे के साथ जुलूस निकलवाते दिखा। इसी दौरान एक व्यक्ति ठीक से नहीं चल पाया तो उसे लात मारते नजर आया। मानवाधिकार आयोग ने उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई।

त्रिपुरा
-पश्चिमी त्रिपुरा जिले का डीएम शैलेश कुमार यादव बीते 26 अप्रैल की रात एक मैरिज हॉल में घुसकर दूल्हे, दुल्हन और अन्य मेहमानों के साथ उदण्डता की पुजारी की पिटाई की और जबरन शादी समारोह रुकवा दिया था। मामला काफी वायरल होने के बाद डीएम महोदय पद मुक्त हुए।

उत्तराखंड
-रुद्रपुर के जगतपुरा निवासी कल्पना गाईन ने बताया कि 11 मई को वह घर में ही थी। इसी बीच आवास विकास चौकी प्रभारी पुलिस टीम के साथ घर में घुस आए और बेटे को पीटने लगे। बीच-बचाव में वह आई तो उसकी भी पिटाई की।

बिहार
-किशनगंज में पुलिस ने एक दर्जन युवकों को अपनी कोहनी पर रेंगने और बाजार के ठीक बीच में मेंढक की तरह कूदने के लिए मजबूर किया।
-औरंगाबाद जिले में 1 मई को कर्फ्यू के दौरान हेलमेट, मास्क तथा गाड़ी के कागजात नहीं होने पर पुलिस ने वाहन मालिक की पिटाई के साथ उठक बैठक करवाया।

महाराष्ट्र
-नागपुर से एक वीडियो सामने आया, जिसमें एक पुलिसकर्मी सड़क पर बाहर आए लोगों को मुर्गा बनाया और उठकबैठक करवाई।

-बीड के आष्टी तालुका के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र चिकित्सा अधिकारी डॉ. विशाल वनवे को शाम को ड्यूटी पूरी कर के अपने गांव जाते समय पुलिसिया पिटाई का शिकार होना पड़ा। आईकार्ड दिखने के बावजूद पुलिस ने उनकी जमकर धुनाई की।

राजस्थान
-पिछले साल अप्रैल में लॉकडाउन के दौरान चित्तौड़गढ़ की एसडीएम रहीं आईएएस तेजस्वी राणा ने एक दुकान के मुनीम से नगदी छीनकर फाड़ दी थी तो एक अन्य दुकान पर टेबल कुर्सियों को पलट कर हिसाब-किताब लिखने वाले बही खातों को भी फेंक दिया था।

हरियाणा
-हरियाणा का पूर्व आईजी हेमंत कल्सन ने 21 अगस्त 2020 को शराब पीकर पंचकूला जिले के एक घर में घुस गया, वहाँ की महिलाओं से बदतमीजी किया, जिसका वीडियो खूब वायरल हुआ था। एफआईआर दर्ज हुई तो आईजी साहब गिरफ्तार हुए।
कर्नाटक
-चिकमंगलूर में एक दलित युवक के साथ पुलिस ने पूछताछ के दौरान बर्बरता की। गोनीबीड़ू पुलिस स्टेशन के सब इंस्पेक्टर ने थाने के अंदर उसे पहले जमकर पीटा, उसके बाद उसे पेशाब चाटने को मजबूर किया। यह घटना बीते 10 मई की है।
पूरा शासन तंत्र दमन तंत्र में बदल चुका है
जब कोविड और दवा-इलाज की विकट कमी से पूरे देश में हाहाकार मचा हुआ है, तब सत्ताधारी तमाम पाबंदियों द्वारा अपनी कमजोरियों को ढंकने और प्रशासन को निर्ममता की खुली छूट दे रखे हैं। दरअसल पूरा शासनतंत्र दमनतंत्र में बदल चुका है, निरंकुश और बेलगाम हो चुका है।