टैंपो पलटने से 19 मनरेगा मज़दूर घायल, सरकारी तंत्र द्वारा इलाज भी नहीं

Manarega_Mazdoor

मनरेगा मजदूर यूनियन ने घायलों के मुफ़्त इलाज की माँग की

चीका (हरियाणा)। 11 मई की सुबह दुखद घटना हो गई। गाँव से करीब 35 किलोमीटर दूर मनरेगा काम पर जाते हुए टेम्पो पलट गया, जिसमें चीका के पपराला गाँव के 19 मनरेगा मज़दूरों को गंभीर चोटें लगी हैं। इलाज की कोई व्यवस्था ना होने से कई मज़दूरों बेहाल हैं।

घटना के बाद मनरेगा मज़दूर यूनियन ने दौरा करके घायल मज़दूरों का हाल जाना और सभी घायलों की सरकारी स्तर पर मुफ़्त इलाज कराने की माँग की। साथ ही मानरेगा मज़दूरों को निकटवर्ती इलाके में ही काम देने या गाँव से 2 किलोमीटर से दूर काम पर जाने के लिए परिवहन सुविधा देने की भी माँग की।

गलत नीति के कारण हुई दुर्घटना

मनरेगा मजदूर यूनियन की ओर से महासचिव सोमनाथ तथा ब्लॉक प्रधान गुहला कर्मजीत कौर ने प्रेस विज्ञप्ति जारी करके बताया कि गुहला ब्लॉक के विभिन्न गांवों के मनरेगा मज़दूर गत मार्च व अप्रैल महीने से मनरेगा काम दिये जाने की माँग कर रहे थे। 11 मई को लंबी जद्दोजहद के बाद गाँव पपराला,  माजरी,  अगौंध,  भूंसला के मनरेगा मज़दूरों को गाँव भूना में तालाब खुदाई का काम मिला था। उसी दिन बहुत ही दुखद घटना हुई है।

11 मई सुबह समय करीब 8 बजे पपराला गाँव के मनरेगा मज़दूर उनके गाँव से करीब 35 किलोमीटर दूर मनरेगा काम पर जा रहे थे। काम पर जाने के लिए मजबूरी में एक फोर व्हीलर टेम्पो किराये पर लिया जो गाँव से करीब एक किलोमीटर दूर ही पलट गया, जिसमें 19 मनरेगा मज़दूरों को चोटें लगी हैं।

दुर्घटना की सूचना मिलते ही यूनियन की जिला कैथल की उप प्रधान सोनिया अगौंध और ब्लॉक प्रधान कर्मजीत कौर ने इसकी जानकारी गुहला ब्लॉक की बीडीपीओ मैडम रोजी व एबीपीओ सुरेश कुमार को दी है। एबीपीओ ने घायल मज़दूरों का इलाज करवाये जाने का आश्वासन दिया।

घटना के दिन यूनियन के प्रांतीय उप प्रधान कॉम फकीर चंद, महासचिव कॉम सोमनाथ व ब्लॉक प्रधान कर्मजीत कौर घायल मनरेगा मज़दूरों का हाल जानने के लिए चीका पहुंचे और पता चला कि एक मज़दूर रेशमा ज्यादा गंभीर होने की वजह से कैथल रैफर कर दी गयी है और बाकी मज़दूर इलाज करवाकर अपने घर गांव पपराला चले गए हैं।

यूनियन नेताओं ने सभी घायल मज़दूरों से बात करके उनका हाल जाना। इनमें से कई मज़दूरों की हालत गंभीर है। उन्हें एक्सरे व सीटी स्कैन आदि करवाकर इलाज करवाने की जरूरत है। मगर कई मज़दूर घर में पैसा न होने के कारण इलाज नहीं करवा पाए हैं। नेताओं ने बताया कि प्रशासन की ओर से कोई भी जिम्मेदार अधिकारी घायल मनरेगा मज़दूरों की सुध लेने नहीं गया है।

घायल मज़दूरों के परिजनों- अमरीक सिंह व हरबंस ने बताया कि मनरेगा अधिकारी व सरकार जानबूझकर हमें काम हमारे गाँव से बहुत दूर देते हैं और बाहर के गांव वालों को काम हमारे गांव में दिया जाता है। अधिकारियों की यह चाल है कि तमाम मज़दूर वाहन के अभाव में बहुत दूर काम पर नहीं जाएंगे और उन्हें बहन मिलेगा कि काम दिया है मगर मजदूर ही काम पर नहीं आते हैं।

घायल महिला मज़दूर नरिंद्रो के परिजनों ने बताया कि हमारे गाँव से भूना गाँव करीब 35 किलोमीटर दूर है। कार्यस्थल तक पहुंचने के लिए मज़दूरों के पास कोई निजी साधन नहीं है। सरकार ने भी वाहन की कोई व्यवस्था नहीं की हुई है। कोरोना संकट की वजह से कोई वाहन चालक ले जाने को तैयार नहीं था। मुश्किल से एक फोर व्हीलर टेम्पो वाला तैयार हुआ था जिसमें हम बीस मज़दूर काम पर जा रहे थे। मज़दूर को सरकार कुछ भी सुविधा नहीं दे रही है।

यूनियन ने कहा कि इस प्रकार की दुर्घटनाएं कार्यस्थल पर जाने के लिए सरकार द्वारा उचित सुरक्षित वाहन का प्रबंध नहीं किये जाने का नतीजा है। एक तरफ मज़दूरों को काम उनके अपने गांवों से बहुत दूर दे दिया जाता है और ऊपर से सुरक्षित वाहन का प्रबंध भी नहीं किया जाता है। इस हादसे के लिए पूरी तरह प्रदेश की भाजपा सरकार की मज़दूर विरोधी नीति जिम्मेदार है।

यूनियन की माँग-

सभी घायल मनरेगा मज़दूरों का मुफ्त इलाज करवाया जाए और जब तक वे ठीक नहीं होते हैं तब तक उन्हें पूरी दिहाड़ी व उचित खुराक का प्रबंध किया जाए। घर से 2 किलोमीटर से अधिक दूरी पर काम दिये जाने पर निशुल्क सुरक्षित वाहन का प्रबंध किया जाए ताकि भविष्य में मज़दूरों के साथ दोबारा ऐसा दुखद हादसा न हो।

घायल मनरेगा मज़दूर व उनकी स्थिति-

  1. रेशमा पत्नी पाल सिंह उम्र करीब 50 साल, तीन बच्चे हैं। उसकी रीड की हड्डी में चोट लगी हुई है। पहले वे कैथल में एक निजी अस्पताल शाह हास्पिटल में उपचाराधीन थी। जहाँ प्रतिदिन 15000₹ इलाज खर्च था, जो पीड़ित परिवार के लिए मुश्किल था। मजबूरी में परिजन उसे संगरूर पंजाब ले गए, जहाँ से उनको कुरुक्षेत्र के एक निजी अस्पताल में लाया गया है।
  2. करनैलो पत्नी मोटूराम उम्र 55 वर्ष के दाएं बाजू में फ्रैक्चर है, नाक की हड्डी टूटी हुई है और 2 दांत टूटे हुए हैं। नाक व दांतों के विशेषज्ञ को दिखाने की जरूरत है मगर कोरोना की वजह से संभव नहीं हुआ।
  3. सुखविंदर कौर पत्नी हरभजन सिंह उम्र 42 साल की बाई बाजू का मांस फटा हुआ है, छाती व पीठ में दर्द है और उसने गगड़पुर बलबेहड़ा पंजाब से अपना इलाज करवाया है।
  4. चरणजीत कौर पत्नी, जसवीर सिंह उम्र 41 वर्ष के सिर व बाएं कंधे में चोट लगी हुई है। उसकी एक 18 वर्ष की लड़की है और दो लड़के एक 21 वर्ष 17 वर्ष के हैं।
  5. जसविंदर कौर की बाई टांग पर गुम चोट लगी हुई है.
  6. नरिंद्रो देवी पत्नी गुरमेल सिंह उम्र 50 साल को रीड की हड्डी में चोट लगी हुई है। मगर निजी हस्पताल में हड्डी रोग विशेषज्ञ से इलाज करवाने में असमर्थ है।
  7. भीरा राम उम्र 50 साल ने नयागांव से अपना इलाज करवाया है। उसके दाएं बाजू में फैक्चर है व पीठ में भारी दर्द है।
  8. महिंद्रो पत्नी परमजीत को दाएं हिस्से की तरफ चोट लगी हुई है। गांव के झोलाछाप डॉक्टर से दवाई ली है। पीठ में पटि्टयां लगाई हुई है और एक्सरे करवाने की जरूरत है, लेकिन वह सही डॉक्टर के पास अपना इलाज नहीं करवा पाई।
  9. रिंकी देवी पत्नी बलविंदर सिंह उम्र 36 साल के बाएं ओर जबड़े में चोट लगी हुई है और बाजू का मांस फट गया है.
  10. भूरी देवी पत्नी बुधराम उम्र 60 साल के बाएं पैर में चोट लगी हुई है और पट्टी बंधी हुई है। उसने बलबेहड़ा पंजाब से अपना इलाज करवाया है।
  11. हरवीर कौर पत्नी अमरीक सिंह उम्र 47 साल के बाएं बाजू में गुम चोट और दाएं पैर में चोट लगी हुई है। पैर पर गर्म पट्टी बंधी हुई है, दाईं कलाई में चोट लगी हुई है।
  12. बलदेव सिंह उम्र 44 साल की बाई बाजू में फ्रैक्चर है व प्लास्टर बंधा हुआ है।
  13. बलजीत कौर पत्नी हरबंस के बाई ओर हंस व पसली में चोट लगी हुई है। उसे सांस लेने में दिक्कत आ रही है। उसने इंसान नर्सिंग होम चीका से इलाज करवाया है।
  14. रोशनी पत्नी छिंदा राम उम्र 39 साल की बाईं टांग के पट पर कस्सी से जख्म हुआ है।
  15. सुखविंदर कौर पत्नी अमरजीत उम्र 40 साल की छाती में चोट लगी है और बहुत दर्द से कराह  रही है। उसने गगड़पुर के एक डाक्टर से दर्द के टीके लगवाए हैं। एक्स- रे अभी नहीं करवाया है क्योंकि घर में पैसा नहीं था। पैसे का बंदोबस्त करके कल एक्सरे करवाएंगे।
  16. गुड्डी पत्नी दरबारा राम उम्र 50 साल ने गांव में डॉक्टर कश्मीर से दर्द के टीके लगवाए हैं।
  17. जरनैलो पत्नी गुरनाम सिंह उम्र 38 साल के सिर, दाईं कलाई और पीठ में चोट लगी हुई है। उसने गगड़पुर में डॉक्टर से दवाई ली है, एक्सरे करवाने हैं। उसकी 4 बेटियां हैं।
  18. बलजीत कौर पत्नी गुरप्रीत सिंह उम्र 28 साल के माथे, बाईं पिंडली और पीठ में चोट लगी है।
  19. विमला देवी पत्नी गुरमीत सिंह उम्र 38 साल के माथे में चोट लगी हुई है और तेरह टांके लगे हुए हैं और उन्होंने गांव में ही इलाज करवाया है।

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