टाटा मोटर्स श्रमिक संघ, पन्तनगर ने प्रबंधन पर लगाया सौतेला व्यवहार का आरोप

यूनियन ने आपदा और बाढ़ की भयावह स्थिति में प्रबंधन पर खास लोगों और आम श्रमिक सहित महिला श्रमिकों के बीच दोहरा मानदंड अपनाने और बोनस में एलटीएस के उल्लंघन पर नाराजगी जताई है।

पंतनगर (उत्तराखंड)। टाटा मोटर्स श्रमिक संघ, पन्तनगर ने प्रबंधन पर सौतेला व्यवहार का आरोप लगाया है। यूनियन ने कहा कि प्राकृतिक आपदा के समय प्रबंधन के खास लोगों के लिए अलग व्यवस्था की लेकिन पीड़ित महिला श्रमिकों तक के लिए दोहरा मानदंड अपनाया है। यूनियन ने इस वर्ष अभी तक बोनस की घोषणा ना करने और मानमानेपन का सवाल उठाया है।

बुधवार को टाटा मोटर्स श्रमिक संघ पन्तनगर द्वारा अपने प्लांट में जमशेदजी नुसीरवानजी टाटा की मूर्ति का माल्यार्पण कर कहा कि लगातार विभिन्न मुद्दों पर कर्मचारियों के हितों के लिये यूनियन प्रयासरत है परंतु प्रबंधन ने कर्मचारियों का ध्यान देना बंद कर दिया है।

यूनियन नेताओं ने कहा कि राज्य में आई आपदा, जिससे नैनीताल एवंम ऊधमसिंह नगर क्षेत्र बेहाल है, के समय पंतनगर प्रबंधन अपने श्रमिको के प्रति सौतेला व्यवहार अपना रहा है। रुद्रपुर में कई क्षेत्र जलमग्न है कई श्रमिको के घरो में पानी घुस गया। सोमवार की रात्रि पाली की वापसी में मजदूरों को कई परेशानियों का सामना करना पड़ा। परन्तु प्रबंधन ने यह भी संज्ञान नही लिया कि मजदूर कैसे घर तक पहुँचे, न ही हाल जाना। डैली सिड्यूल के आधार पर सिर्फ बसों को लगा दिया गया।

यूनियन ने आरोप लगाया कि कारखाना प्रबंधन द्वारा जिन क्षेत्र में प्रबंधन के साथी रहते है (मेट्रो पोलिस, ओमैक्स) वहाँ जरनल शिफ्ट की बसों का इंतजाम कर दिया, परन्तु जिन क्षेत्रों में अभी भी जलभराव है और मजदूर रहते है, महिलाएं अपने 5 साल से छोटे बच्चो को साथ लाती है, वहाँ जरनल शिफ्ट की व्यवस्था नही की गयीं। यह बहुत सोचनीय है।

नेताओं ने कहा कि ठंड के दिन आ रहे है, महिलाओं को बच्चो को क्रेच में रखने हेतु साथ लाना पड़ता है। सुबह 5 बजे बस स्टॉप में आना पड़ता है, छोटा बच्चा साथ रहता है, बच्चे के साथ भय अलग रहता है, परंतु यूनियन की अपील के बावजूद प्रबंधन उनके लिये जरनल शिफ्ट की व्यवस्था तक नही करती है।

यूनियन ने कहा कि अन्य प्लांट में टाटा मोटर्स ने अपने कर्मचारियों को बोनस वितरण कर दिया है, परंतु पन्तनगर प्लांट में अभी तक श्रमिको को उनके बोनस के अंको पर पारदर्शिता नही दी गयी है। जो कि पन्तनगर प्लांट के BSC स्कोर पर निर्भर है। जबकि यह वेतन समझौता (LTS) का पार्ट है।

वेरीयेबल पे आउट श्रमिको के संशय को दूर नही किया जा रहा है। जिसके लिये यूनियन दो पत्र दे चुकी है। प्लांट में प्रबंधन का व्यवहार श्रमिको की एकता को तोड़ने का प्रयास है।

बुधवार को यूनियन कार्यकारणी ने अध्यक्ष नवीन जोशी, मंत्री हेमराज के साथ जाकर अपने अलग अंदाज में एचआर हेड एवंम आईआर हेड को गुलाब का पुष्प देकर यह निवेदन किया कि कारखाने में अस्थिरता का माहौल न बनाया जाये। कहा कि अगर इससे कारखाने में किसी भी प्रकार की अस्थिरता हुई इसका जिम्मेदारी कारखाना प्रबंधन की होगी।

टाटा मोटर्स श्रमिक संघ पन्तनगर ने उपरोक्त प्रकरण की निंदा की है। इन सभी विषयों को टाटा मोटर्स श्रमिक संघ कॉरपोरेट के शीर्ष अधिकारियों के समक्ष रखेगा।

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