सरकार को अल्टीमेटम : गृहराज्यमंत्री बर्खास्त, अजय मिश्र गिरफ्तार व खट्टर का इस्तीफा हो!

एसकेएम ने यूपी और केंद्र सरकारों को अल्टीमेटम जारी कर कहा है कि यदि ये मांगें पूरी नहीं होती हैं, तो शहीदों के ‘अंतिम अरदास’ दिवस पर बड़े कार्यक्रम का ऐलान किया जाएगा।

केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अपने पद पर बेशर्मी से कायम हैं। उनके बेटे की भी गिरफ़्तारी नहीं हुई है। मोदी सरकार के असली रंग लगातार सामने आ रहे हैं। समय आ गया है कि आम नागरिकों के खिलाफ हत्या के इरादे वाले आपराधिक तत्वों को सरकार से हटाया जाए, एसकेएम ने घोषणा की कि वह लखीमपुर खीरी किसान हत्याकांड में न्याय के लिए संघर्ष को मुकाम तक पहुंचाएगा।

सरकार अपराधी मंत्री अजय मिश्रा के खिलाफ तत्काल कार्रवाई करे या कड़े विरोध को तैयार रहे!

मोदी सरकार में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी, जिनका आपराधिक इतिहास अब यूपी के लखीमपुर खीरी में हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटनाओं के कारण जनता के सामने आ गया है, बेशर्मी से एक मंत्री के रूप में अपने पद पर बने हुए हैं।

एसकेएम का कहना है कि उनकी बर्खास्तगी लंबे समय से लंबित है। यह शर्मनाक है कि एक मंत्री, वह भी गृह मामलों के, जिसका इतना आपराधिक और हत्यारा चरित्र और इतिहास है, और मोदी सरकार उसे आश्रय दे रही थी, जबकि एसकेएम ने कुछ सप्ताह पहले 25 सितंबर को एक सार्वजनिक सभा में उनके द्वारा किसानों को दी गई खुली धमकी के बारे में सवाल उठाए थे।

रिपोर्टों से मालुम होता है कि अजय मिश्रा और आशीष मिश्रा दोनों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं, और मंत्री वास्तव में जमानत पर बाहर हैं। एसकेएम ने मोदी सरकार को मंत्री के खिलाफ तत्काल कार्रवाई करने या कड़े विरोध का सामना करने की चेतावनी दी है। एसकेएम ने उत्तर प्रदेश के दौरे के दौरान लखीमपुर खीरी के बर्बरतापूर्ण  घटनाक्रम पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की चुप्पी की भी निंदा की है।

मंत्री पुत्र आशीष मिश्रा को भी यूपी पुलिस गिरफ्तार करे!

इस बीच, अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा को भी यूपी पुलिस ने अभी तक गिरफ्तार नहीं किया है। एसकेएम ने कहा कि वह न्याय के लिए अपना संघर्ष नहीं छोड़ेगी, हालांकि यह स्पष्ट है कि यूपी पुलिस ने रविवार को ही उसे गिरफ्तार करने के बजाय उसे और उसके साथियों को हत्या और नरसंहार के स्थान से भागने के लिए कवर दिया था।

किसान नेता तजिंदर विर्क के खिलाफ दर्ज फर्जी मामले वापस हो!

एसकेएम किसान नेता तजिंदर सिंह विर्क के खिलाफ मामला दर्ज करने की निंदा करता है, स्पष्ट रूप से लखीमपुर खीरी में उन पर हमला हुआ था और उन्हें निशाना बनाकर घायल किया गया था। एसकेएम की मांग है कि विजय मिश्रा द्वारा दर्ज किया गया मामला तुरंत वापस लिया जाए।

ग्राउंड ज़ीरो से वीडियो क्लिप स्पष्ट रूप से दिखाते हैं कि तजिंदर विर्क पर “थार” वाहन ने पीछे से हमला किया था जब वह शांति से सड़क पर चल रहे थे, और बाद में, जब उनका खून बह रहा था और वे बेहोश अवस्था में सड़क पर पड़े थे, और  अन्य किसान उनकी मदद के लिए भाग रहे थे।

एसकेएम ने कहा कि उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करना एक क्रूर मजाक है और गहरी साजिश का हिस्सा है, इसे तुरंत वापस लिया जाना चाहिए।

मृतक पत्रकार रमन कश्यप के पिता की शिकायत पर मुक़दमा दर्ज हो!

एसकेएम ने इस शिकायत की गहन जांच की भी मांग की कि यूपी पुलिस के अधिकारियों ने पत्रकार रमन कश्यप को बचाने की कोशिश नहीं की, जिन्हें आशीष मिश्रा के काफिले ने कुचल दिया था; इलाज के बजाय सीधे मुर्दाघर ले जाने के बाद इलाज के अभाव में रमन कश्यप की जान नहीं बचाई जा सकी। रमन कश्यप का अंतिम संस्कार आज हुआ।

मृतक पत्रकार के पिता द्वारा दर्ज की गई शिकायत को यूपी पुलिस द्वारा प्राथमिकी के रूप में दर्ज किया जाना बाकी है और एसकेएम ने मामला दर्ज करने की मांग की है।

खीरी किसान हत्याकांड मामले में संघर्ष जारी: सीएम खट्टर इस्तीफा दें!

लखीमपुर खीरी हत्याकांड में शहीद हुए चारों किसानों का अंतिम संस्कार कर दिया गया है। डॉक्टरों की एक अन्य टीम द्वारा बहराइच में दूसरे पोस्टमार्टम के बाद गुरविंदर सिंह का अंतिम संस्कार किया गया। रिपोर्ट का इंतजार है।

संयुक्त किसान मोर्चा दोहराता है कि वह लखीमपुर खीरी किसान हत्याकांड मामले में न्याय के लिए अपने संघर्ष से पीछे नहीं हटेगा, साथ ही हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के खिलाफ भी, जो राज्य की पुलिस को स्पष्ट रूप से दंड मुक्त कर रहे थे। एक राज्य सरकार का मुख्यमंत्री जो संवैधानिक पद पर है, और खुले तौर पर हिंसा भड़का रहा है, पूरी तरह से अस्वीकार्य है, और हम तब तक चैन नहीं बैठेंगे जब तक कि खट्टर इस्तीफा नहीं देते या हटा नहीं दिए जाते ।

एसकेएम ने यह भी कहा कि वह जल्द ही इस मुद्दे पर कार्य योजना की घोषणा करेगा।

भाजपा नेताओं का विरोध जारी

हरियाणा के भिवानी में आज एक कॉलेज के बाहर सैकड़ों किसान जमा हो गए जहां हरियाणा राज्य के कृषि मंत्री जेपी दलाल एक कार्यक्रम में हिस्सा ले रहे थे। भाजपा और राज्य सरकार के खिलाफ अपना गुस्सा जाहिर करने के लिए किसान काले झंडे लेकर आए थे।

उत्तराखंड में, नानकमत्ता भाजपा विधायक डॉ प्रेम सिंह राणा को बिजती गांव में स्थानीय किसानों के घेराव और काले झंडे के विरोध का सामना करना पड़ा। किसान एमएसपी पर धान खरीद की  मांग कर रहे थे।

राजस्थान में कार्यवाही की माँग

राजस्थान में श्रीगंगानगर और हनुमानगढ़ के किसान, जो धान खरीद और सिंचाई के पानी की मांग कर रहे हैं, ने अपनी मांगों के हल करने में गहलोत सरकार की उदासीनता की ओर इशारा किया है। किसान उन पुलिस अधिकारियों के खिलाफ भी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं जिन्होंने किसानों के खिलाफ हिंसा की है। एसकेएम की मांग है कि सरकार द्वारा एमएसपी पर धान की खरीद सभी मंडियों और राज्यों में शुरू की जानी चाहिए, जहां किसान अपना धान बिक्री के लिए ला रहे हैं।

कर्नाटक में किसानों की बड़ी रैली

कर्नाटक में गन्ना किसानों ने कई दिन पहले विधानसभा का घेराव करने की घोषणा की गई थी।   कल किसानों ने बंगलुरू में बड़ी रैली कर धरना दिया। यहां के किसान मांग कर रहे हैं कि गन्ने का कानूनी रूप से गारंटीकृत मूल्य कम से कम रु. 350/- प्रति क्विंटल तय किया जाए। कर्नाटक के मुख्यमंत्री ने किसानों को आश्वासन दिया है कि एक सप्ताह के भीतर वह मामले की समीक्षा करेंगे और कीमतों पर पुनर्विचार करेंगे; इस आश्वासन के बाद किसानों ने अपना धरना फिलहाल समाप्त कर दिया है।

कपास किसानों का संघर्ष जारी

पंजाब और हरियाणा दोनों जगहों पर घाटे में चल रहे कपास किसान, जिनकी फसल पिंक बॉलवर्म के हमले से क्षतिग्रस्त हो गई है, का संघर्ष जारी है। किसानों द्वारा मानसा और सिरसा जैसे कई स्थानों पर तत्काल मुआवजे की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है।

जसपुर में हुई किसान माह पंचायत

उत्तराखंड के ऊधमसिंह नगर स्थित जसपुर मंडी में आज किसान महापंचायत का आयोजन किया गया। महापंचायत में आज चौधरी महेंद्र सिंह टिकैत की जयंती मनाई गई। इसी तरह आज हरियाणा के सिरसा के कालांवाली में किसान महापंचायत का आयोजन किया गया। यह महापंचायत तीन केंद्रीय किसान विरोधी कानूनों के लागू होने के तुरंत बाद, 6 अक्टूबर 2020 को सिरसा में शुरू हुए पक्के मोर्चा के एक साल के पूरा होने के अवसर पर यह महापंचायत की गई।

चंपारण से वाराणसी तक लोकनीति सत्याग्रह पदयात्रा जारी

चंपारण से वाराणसी तक लोकनीति सत्याग्रह पदयात्रा का आज पांचवां दिन है। पदयात्रा आज सिवान के मदारपुर से रवाना होकर दोपहर तक मालमलिया पहुंचेगी। यात्री आज रात सिवान जिले के भगवानपुर हाट में विश्राम करेंगे और कल सुबह आगे बढ़ेंगे। प्रधानमंत्री से यात्रा का आज का सवाल था: “देश में बेरोजगार युवाओं के लिए रोजगार पर फैसला कब करेंगे?”

खीरी हत्याकांड का देश के साथ विदेशों में भी विरोध

लखीमपुर खीरी हत्याकांड को न केवल भारत के विभिन्न राज्यों (तमिलनाडु, राजस्थान, छत्तीसगढ़, केरल, पश्चिम बंगाल, दिल्ली, पंजाब, झारखंड आदि) के मुख्यमंत्रियों और विभिन्न राजनीतिक दलों और अन्य लोगों की ओर से, बल्कि ब्रिटेन और कनाडा के सांसदों से भी कड़ी प्रतिक्रिया मिली है।

घटना पर अपनी प्रतिक्रिया में, एक ब्रिटिश सांसद तनमनजीत सिंह ढेसी ने कहा कि वे क्रोधित हैं और मांग की कि अधिकारियों को न्याय देना चाहिए। ब्रिटेन की एक अन्य सांसद प्रीत कौर गिल के अलावा कनाडा के सांसदों में टिम उप्पल, रूबी सहोता, मनिंदर सिद्धू, रणदीप एस सराय, सोनिया सिद्धू, जसराज सिंह हल्लन और अन्य शामिल हैं। ये मुख्य रूप से अन्य देशों में पंजाब मूल के सांसद हैं। इन सांसदों ने शोक जताया और न्याय की मांग की।

संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा जारी (314वां दिन, 06 अक्टूबर 2021)

जारीकर्ता – बलबीर सिंह राजेवाल, डॉ दर्शन पाल, गुरनाम सिंह चढूनी, हन्नान मोल्ला, जगजीत सिंह डल्लेवाल, जोगिंदर सिंह उगराहां, शिवकुमार शर्मा (कक्का जी), युद्धवीर सिंह, योगेंद्र यादव।

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