मँहगाई : डीजल-पेट्रोल की कीमतों में भारी बृद्धि

मोदी सरकार ने पेट्रोलियम कम्पनियों को कीमत बढ़ाने की दी है छूट

नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पेट्रोल के दाम 84.45 रुपये प्रति लीटर के नए उच्च स्तर पर पहुंच गए हैं. सार्वजनिक क्षेत्र की पेट्रोलियम कंपनियों ने पांच दिन के बाद ईंधन कीमतों में बुधवार को फिर बढ़ोतरी की.

पेट्रोलियम विपणन कंपनियों की मूल्य अधिसूचना के अनुसार, पेट्रोल और डीजल दोनों के दाम 25-25 पैसे प्रति लीटर बढ़ाए गए हैं. दिल्ली में अब पेट्रोल 84.45 रुपये प्रति लीटर और डीजल 74.63 रुपये प्रति लीटर हो गया है.

मुंबई में पेट्रोल के दाम 91.07 रुपये प्रति लीटर और डीजल के 81.34 रुपये प्रति लीटर पर पहुंच गए हैं.दिल्ली में अब पेट्रोल के दाम अपने सर्वकालिक उच्च स्तर पर हैं. वहीं मुंबई में डीजल की कीमत रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई है.

सार्वजनिक क्षेत्र की पेट्रोलियम कंपनियों- इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी), भारत पेट्रोलियम कॉरपोरेशन (बीपीसीएल) और हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉरपोरेशन (एचपीसीएल) ने छह जनवरी से वाहन ईंधन कीमतों में संशोधन फिर शुरू किया है. इससे पहले करीब एक माह तक ईंधन कीमतों में संशोधन नहीं हुआ था.

लगातार दो दिनों में कीमतों में बढ़ोतरी की गई- पेट्रोल के दाम 49 पैसे प्रति लीटर और डीजल के 51 पैसे प्रति लीटर बढ़े हैं.अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल के दाम लगातार सात दिन तक बढ़ने के बाद वाहन ईंधन कीमतों में बढ़ोतरी का सिलसिला फिर शुरू हुआ है.

अमेरिकी वेस्ट टेक्सास इंटरमीडिएट 1.3 प्रतिशत बढ़कर 53.88 डॉलर प्रति बैरल हो गया है. वहीं ब्रेंट कच्चा तेल 79 सेंट बढ़कर 57.37 प्रति डॉलर पर पहुंच गया है. सात जनवरी को पेट्रोल 84.20 रुपये प्रति लीटर के रिकॉर्ड पर पहुंचा था.इससे पहले चार अक्टूबर, 2018 को दिल्ली में पेट्रोल 84 रुपये प्रति लीटर के उच्च स्तर पर पहुंचा था. इसी दिन डीजल भी 75.45 रुपये प्रति लीटर के रिकॉर्ड स्तर पर था.

मुंबई में भी चार अक्टूबर, 2018 को पेट्रोल 91.34 रुपये प्रति लीटर के अपने सर्वकालिक उच्च स्तर तक गया था.उसके बाद मई, 2020 में पेट्रोल 14.79 रुपये प्रति लीटर और डीजल 12.34 रुपये प्रति लीटर महंगा हुआ था. पेट्रोल पर उत्पाद शुल्क 32.98 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 31.83 रुपये प्रति लीटर है.दिल्ली में पेट्रोल पर मूल्यवर्धित कर (वैट) 19.32 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 10.85 रुपये प्रति लीटर है.

बता दें कि वैश्विक बाजार में कच्चे तेल के तेजी से गिरते दाम के बीच सरकार ने मार्च 2020 में कानून में जरूरी संशोधन किया था और पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क में आठ रुपये प्रति लीटर तक की वृद्धि करने का अधिकार हासिल कर लिया था.उसके बाद तेल कंपनियों ने हफ्तों लगातार कीमतों में बढोतरी की थी. पेट्रोल, डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी को लेकर विपक्ष ने सरकार की आलोचना की थी.

द वायर से साभार

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