पूँजीपतियों के 68 हजार करोड़ माफ, मज़दूरों पर टैक्स
बैंकों ने 50 विलफुट डिफॉल्टरों के 68,607 करोड़ के कर्ज को किया राइट ऑफ
नई दिल्ली। बैंकों ने टॉप 50 विलफुल डिफॉल्टरों के 68,607 करोड़ रुपये के कर्ज को राइट ऑफ कर दिया है यानी बट्टा खाते में डाल दिया है। भारतीय रिजर्व बैंक की ओर से एक आरटीआई के जवाब में यह जानकारी दी गई है।
केंद्रीय बैंक के मुताबिक जिन विलफुल डिफॉल्टरों के लोन को राइट ऑफ किया गया है, उनमें देश छोड़कर भागने वाले विजय माल्या और मेहुल चोकसी भी शामिल हैं। बता दें कि मेहुल चोकसी ने पंजाब नेशनल बैंक से लोन लेकर घोटाला किया था और फिलहाल देश से बाहर है। आरटीआई ऐक्टिविस्ट साकेत गोखले की याचिका के जवाब में भारतीय रिजर्व बैंक ने उन 50 डिफॉल्टर कंपनियों की पूरी सूची ही जारी कर दी है, जिन पर यह भारी भरकम कर्ज बकाया है। आइए जानते हैं, कौन-कौन हैं इस लिस्ट में…
किंगफिशर एयरलाइंस का भी इस लिस्ट में नाम है, जिसका मालिक विजय माल्या है। फिलहाल विजय माल्या भागकर लंदन में रह रहा है और सरकार की ओर से उसके प्रत्यर्पण की कोशिशें की जा रही हैं। भारतीय रिजर्व बैंक के मुताबिक किंगफिशर एयरलाइंस पर बैंकों का 1,943 करोड़ रुपये का कर्ज बकाया है। माल्या की सभी कंपनियों की बात करें तो एसबीआई समेत देश के 9 बैंकों से कुल 9,000 करोड़ रुपये का कर्ज बकाया है।
इस लिस्ट में सबसे पहला नाम गीतांजलि जेम्स कंपनी है, जो भगोड़े मेहुल चोकसी की कंपनी है। इस कंपनी के 5,492 करोड़ रुपये के कर्ज को बैंकों ने राइट ऑफ किया है। आरबीआई के मुताबिक 30 सितंबर, 2019 तक इन कर्जों को बट्टे खाते में डाला गया है। यही नहीं मेहुल चोकसी की ही अन्य कंपनियों गिली इंडिया लिमिटेड और नक्षत्र ब्रैंड्स पर 1,447 करोड़ और 1,109 करोड़ रुपये का भारी भरकम कर्ज बकाया है। इस तरह मिलाकर देखें तो तीनों कंपनियों पर करीब 8,000 करोड़ रुपये का भी भरकम कर्ज बकाया है। चोकसी फिलहाल एंटीगुआ में है, जबकि उसका भतीजा नीरव मोदी लंदन में है।
आरबीआई की लिस्ट में दूसरा नंबर REI Agro Ltd का है। इस कंपनी पर बकाया 4,314 करोड़ रुपये के कर्ज को बैंकों ने बट्टा खाते में डाला है। बीते करीब एक साल से इस कंपनी के डायरेक्टरों संदीप झुनझुनवाला और संजय झुनझुनवाला के खिलाफ जांच चल रही है।
आरबीआई की सूची में तीसरा नाम हीरे का कारोबार करने वाली कंपनी विन्सम डायमंड्स ऐंड ज्वेलरी का है। इस कंपनी पर बैंकों के कुल 4,076 करोड़ रुपये के कर्ज को बट्टे खाते में डाला गया है। फिलहाल कई बैंक फ्रॉड के मामले में इस कंपनी के खिलाफ सीबीआई जांच करने में जुटी है।
इस सूची में चौथा नाम कानपुर की कंपनी Rotomac Global Pvt. Ltd का है। इस कंपनी पर 2,850 करोड़ रुपये की रकम बकाया है। इस कंपनी के प्रमोटर विक्रम कोठारी हैं।
केंद्रीय बैंक ने इनके अलावा Kudos Chemie का नाम उजागर किया है, जिस पर 2,326 करोड़ रुपये बकाया हैं। इसके बाद छठे नंबर पर रुचि सोया कंपनी है, जिसका अब पतंजलि ग्रुप ने अधिग्रहण कर लिया है। इस कंपनी पर 2,212 करोड़ रुपये का बकाया था, जिसे बैंकों ने राइट ऑफ किया है। इसी तरह ग्वालियर की कंपनी जूम डिवेलपर्स पर बकाया 2,012 करोड़ रुपये की रकम को भी बट्टे खाते में डाला गया है।
विजय माल्या समेत करीब 18 ऐसी कंपनियों के नाम हैं, जिन पर 1 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम बकाया है। इसके अलावा 25 ऐसी कंपनियां हैं, जिनपर 1,000 करोड़ रुपये तक की रकम बकाया है। कर्ज लेकर न लौटाने वाली कंपनियों की बात करें तो इनमें से 6 ऐसी हैं, जो हीरे और गोल्ड के कारोबार में थीं।